Tuesday, August 17, 2010

School ki wo

"स्कूल में उनकी मौजूदगी का मज़ा ही कुछ और था,
उनके संग बतियाने का मज़ा ही कुछ और था |
स्कूल में आती थी जब वो अपनी जुल्फे लहराकर,
तो उनकी उस अदा के दीदार का मज़ा ही कुछ और था ||"

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